
क्या है हरियाली तीज Hariyali Teej के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी? नमस्कार दोस्तों, हिंदू धर्म में हरियाली तीज Hariyali Teej का विशेष महत्व माना जाता है।
- यह पवित्र त्यौहार सावन मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाया जाता है।
- हरियाली तीज Hariyali Teej विशेष रूप से महिलाओं का पर्व होता है, जो माता पार्वती जी और भगवान शिव जी के पुनर्मिलन की याद में मनाया जाता है।
- यह पर्व अखंड सौभाग्य, प्रेम और समर्पण का प्रतीक माना जाता है।
- इस जानकारी को शुरू करने से पहले आपको बताना चाहते हैं की इस साल हरियाली तीज Hariyali Teej का त्यौहार 27 जुलाई को मनाया जाएगा।
यह त्यौहार हरियाली और बारिश के मौसम में आता है
- हरियाली तीज Hariyali Teej का पर्व सावन की हरियाली और बारिश के मौसम में आता है, जब चारों ओर प्रकृति अपने सुन्दरतम रूप में होती है।
- यह समय प्रकृति की खुशहाली का संकेत देता है।
- इसी वजह से इस त्यौहार को हरियाली तीज Hariyali Teej का नाम दिया गया हैं।
- इस दिन महिलाएं व्रत रखती हैं और पूरे दिन निर्जला उपवास करती हैं।
- यह उपवास पत्नी द्वारा अपने पति की लंबी उम्र और सुखमय दांपत्य जीवन के लिए रखा जाता है।
- अविवाहित कन्याएं भी अच्छे वर की कामना से इस व्रत को करती हैं।
हरियाली तीज Hariyali Teej के दिन महिलाएं करती है मां पार्वती जी की पूजा
पूजा के दौरान महिलाएं माता पार्वती जी को बेलपत्र, हल्दी लगे चावल, फूल और फल अर्पित करती हैं। इस दिन भगवान शिव जी और गणेश जी की भी विशेष रूप से पूजा की जाती है। पूजा के बाद महिलाएं लोक गीत गाती हैं, झूला झूलती हैं और पारंपरिक परिधान पहनकर सज-धज कर एक-दूसरे से मिलती हैं।
हरियाली तीज Hariyali Teej का त्यौहार इसलिए भी महत्वपूर्ण होता है क्योंकि मां पार्वती जी ने 108 बार भगवान शिव जी की पत्नी के रूप में जन्म लिया था। अंततः उनके अटल विश्वास और तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान शिव जी ने उन्हें अपनी पत्नी के रूप में स्वीकार किया। यह त्यौहार सच्चे प्रेम की सीख देता हैं और आज भी इस त्यौहार की हिंदू धर्म में काफी ज्यादा मान्यता होती है और इस दिन महिलाएं व्रत रखती हैं।
निष्कर्ष
तो दोस्तों, इस प्रकार, हरियाली तीज Hariyali Teej न केवल एक धार्मिक पर्व है, बल्कि यह भारतीय संस्कृति, नारी शक्ति और प्रकृति के सौंदर्य को एक साथ जोड़ने वाला पर्व माना जाता हैं। आप सभी को इस त्यौहार की हार्दिक शुभकामनाएं।
