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    मौनी अमावस्या 2025

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    मौनी अमावस्या 2025 का पर्व 29 जनवरी, बुधवार को मनाया जाएगा। यह दिन विशेष रूप से मौन, उपवास और गंगा स्नान के लिए महत्वपूर्ण है।

    तिथि और समय

    • अमावस्या तिथि प्रारंभ: 28 जनवरी 2025 को शाम 7:35 बजे
    • अमावस्या तिथि समाप्त: 29 जनवरी 2025 को शाम 6:05 बजे

    शुभ मुहूर्त

    • ब्रह्म मुहूर्त: सुबह 5:25 से 6:18 बजे
    • प्रातः सन्ध्या: सुबह 5:51 से 7:11 बजे
    • अमृत काल: रात 9:19 से 10:51 बजे
    • गोधूलि मुहूरत: शाम 5:55 से 6:22 बजे

    महत्व :

    • मौनी अमावस्या का दिन विशेष रूप से पितरों की पूजा और तर्पण के लिए महत्वपूर्ण है। इस दिन गंगा में स्नान करने से पापों का नाश होता है और मोक्ष की प्राप्ति होती है।
    • अनुष्ठान
    • इस दिन उपवास रखने, ध्यान करने और गंगा स्नान करने की परंपरा है। श्रद्धालु आमतौर पर भगवान शिव और विष्णु की पूजा करते हैं, साथ ही दान भी करते हैं।

    निष्कर्ष

    मौनी अमावस्या का दिन पितरों की पूजा और तर्पण के लिए विशेष महत्व रखता है। इस दिन गंगा या अन्य पवित्र नदियों में स्नान करने, उपवास रखने और दान करने से विशेष पुण्य की प्राप्ति होती है। यह दिन आत्म-चिंतन और शांति प्राप्त करने का एक अनमोल अवसर है।

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    अचार्य अभय शर्मा एक अनुभवी वेदांताचार्य और योगी हैं, जिन्होंने 25 वर्षों से अधिक समय तक भारतीय आध्यात्मिकता का गहन अध्ययन और अभ्यास किया है। वेद, उपनिषद, और भगवद्गीता के विद्वान होने के साथ-साथ, अचार्य जी ने योग और ध्यान के माध्यम से आत्म-साक्षात्कार की राह दिखाने का कार्य किया है। उनके लेखन में भारतीय संस्कृति, योग, और वेदांत के सिद्धांतों की सरल व्याख्या मिलती है, जो साधारण लोगों को भी गहरे आध्यात्मिक अनुभव का मार्ग प्रदान करती है।